मापनी
122 122 122 122,122 122 122 122
1
गणेश जी को समर्पित
पुकारे सभी आज आओ गणेशा,
बढ़े देख कैसा धरा पे अँधेरा।
दया याचना श्री गणेशा सुनो जी,
धरा डालता काल का आज डेरा।
लगे आज ताले सभी मंदिरों पे,
सभी खोल ताले हटा रोग घेरा।
नहीं गूँजती आरती मौन होती,
सभी को भरोसा यहाँ आज तेरा
2
माँ शारदे को समर्पित
सुनो शारदे माँ करें कामना ये,
बहे ज्ञान गंगा तुम्हारी यहाँ से।
लिखे छंद सारे सवैया रचाएं,
लिखे लेखनी लाख लेखा वहाँ पे।
बहे छंदशाला सदा प्रेम गंगा,
मिले भीगने प्रेम ऐसा कहाँ ये।
चले साथ लेके सभी को यहाँ पे,
खिले रोज शोभा कली की जहाँ से।
3
महादेव को समर्पित
महाकाल शंभू महादेव भोला,
हरे पीर बाबा शिवा है कृपाला।
भजो हे शिवोहं भजो हे कपाली,
शिवा है पिनाकी करे हैं उजाला।
त्रिलोकेश कैलाश बाबा त्रिनेत्र,
नमामी जटाजूट धारी शिवाला।
करालं कृपालुं शिवोहं त्रिलोकी,
लपेटे विषैला फणी कंठ काला।
*अनुराधा चौहान'सुधी'✍️*
चित्र गूगल से साभार
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